Tuesday, August 30, 2011

गाँधी टोपी में छुपे है यूथ के नए आइकॉन ?


तीन महीने पहले किसी ने सोचा भी नई था की एक व्वक्ति जो सिर पे गाँधी टोपी,सफेद धोती कुर्ता और गाँधी जैसी चाल, ७४ साल के इस व्वक्ति जिसकी पहले महाराष्ट्र दीवानी थी और आज पूरी भारत दीवानी है आखिर यह व्वक्ति में बात क्या है ? ये युवा पीढ़ी का पसंदीदा कैसे बन गया ? नई पीढ़ी का सबसे हॉट आइकॉन.
अन्ना हजारे पहली नज़र में बदलते हिदुस्तान के नए सुपरस्टार बन गए,किसी ने सोचा भी नई था की ये युवाओ के दिल में शारुख और सलमान की जगह ले पायेगा पर जब अन्ना की अंधी चली तो युवाओ के दिल में अन्ना ने अपनी जगह बना ली. क्या येः वही पीढ़ी है ? जी हां ये वही पीढ़ी है जिसके बारे में हर बुजुर्ग यही कहता है की ये अपने रास्तें से भटक चूके है,जिसे भारतीय संस्कृति और परंपरा पता तो है पर वो उससे अपनाना नहीं चाहती क्यूँ की ये सब पश्चमी सभ्यता के तरफ आकर्षित होते जा रही है और इनके गुलाम बनती जा रही है पर १६ अगस्त २०११ अन्ना का ऐसा हवा चला की वो आगे जाके आंधी का रूप ले लिया और भ्रष्टाचार के खिलाफ एक नारा बन गया “हवा नहीं ये आंधी है अन्ना देश के दूसरे गाँधी है “
अन्ना ने खुद ये बात कह दी की ये जीत आज उनकी नई बल्कि उनके साथ देने वाले युवा पीढ़ी की भी है, भारत की नई ताकत युवा पीढ़ी को आज अन्ना भी मान गए की सच में भारत का भविष्य युवाओ में हे छुपा हुआ है आखिर अन्ना में ऐसी कौन सी बात थी जिससे युवा पीढ़ी उनकी तरफ आकर्षित हो गई ? आकर्षित तो होना ही था आखिर कब तक ये युवा पीढ़ी भ्रष्टाचार को सह पाती हम सब जानते है आज हर कोई इस भ्रष्टाचार से परेशान है खास कर के युवाए जिसे हर जगह भ्रष्टाचार जैसे वाइरस का सामना करना पडा चाहे वो किसी स्कूल या कॉलेज में दाखिला लेना हो या किसी कंपनी में जॉब लेना हर जगह ये वाइरस मिला ही और इस वाइरस का एंटी वाइरस अन्ना के पास ही था नई पीढ़ी पहले से ज्यादा पारदर्शी है. ज्यादा खुली जिसे भाषण नहीं बल्कि एक्शन पसंद है,पर तमाम सभ्यताओं के बावजूद उसका मन अपनी संपूर्णता में भारतीय है, इसलिए आज का युवा अन्ना को रिजेक्ट नहीं बल्कि लाईक करना चाहता था. वह उनको परखता है. गहराई में उतरकर उनको पहचानता है,वह ये भी जनता है भले ही अन्ना की सोच कुछ हद तक भगत सिंह जैसे क्रांतिकारी से मिलती हो पर कर्म गाँधी वाले है इसी लिए तो अन्ना आज देश के दूसरे गाँधी माने जाते है. असल में, यह पीढ़ी अब पहले से ज्यादा जागरूक है. ज्यादा आत्मविश्वास से भरी हुई है और पूरी तरह से भारतीय है, यह पहले की पीढ़ी की तरह से कुंठित भी नहीं है, बस यही फर्क है आज की पीढ़ी अन्ना को अपना सुपरस्टार मानती है और सायेद इसी लिए आज वो एक आइकॉन बन गए है....................